सूर्य ग्रहण 2024: चैत्र नवरात्र की शुरुआत में पूर्ण सूर्य ग्रहण का महत्व

1.आध्यात्मिक महत्व: चैत्र नवरात्रि की शुरुआत में होने वाला पूर्ण सूर्य ग्रहण हिंदू संस्कृति में अत्यधिक महत्वपूर्ण है।

2. सांस्कृतिक पारंपरिकता: सूर्य ग्रहण के समय, हिंदू समुदाय अपने आदर्शों को बढ़ावा देता है, देवताओं की पूजा को मानसिक रूप से अधिक महत्व देता है।

सूर्य ग्रहण 2024: एक महत्वपूर्ण घटना

8 अप्रैल, 2024 को पूर्ण सूर्य ग्रहण का मौका है, जो चैत्र नवरात्र की शुरुआत से ठीक एक दिन पहले सोमवती अमावस्या पर लगेगा। यह इस साल का पहला सूर्य ग्रहण होने के कारण विशेष महत्वपूर्ण है और इसे ध्यान में रखा जा रहा है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, इस दौरान लोगों को ज्यादा से ज्यादा मानसिक पूजा-पाठ करना चाहिए, क्योंकि हिंदू धर्म के अनुसार, इस दौरान किसी भी देवी-देवता को नहीं छूना चाहिए। हालांकि, इस ग्रहण का प्रभाव भारत पर नहीं पड़ने की अपेक्षा है।

सूर्य ग्रहण का समय और अवधि:

8 अप्रैल, 2024 को सूर्य ग्रहण रात्रि 9 बजकर 12 मिनट पर शुरू होगा और रात्रि 2 बजकर 22 मिनट पर समाप्त होगा। इसका मध्य समय रात्रि 11 बजकर 47 मिनट पर होगा। इस सूर्य ग्रहण की कुल अवधि 5 घंटे 10 मिनट की होगी।

ग्रहण के दौरान ध्यान देने योग्य बातें:

– किसी भी भगवान की तस्वीरों को न छूना।
– ग्रहण के दौरान भोजन न करें।
– कोई भी नया काम शुरू न करें।
– खुली आंखों से ग्रहण न देखें।
– घर को पर्दे से ढक दें।
– गर्भवती महिलाएं घर से बाहर न निकलें।
– किसी भी वैदिक मंत्र या अपने आराध्य का मानसिक ध्यान करें।
– ग्रहण से पहले खाने में तुलसी पत्र डालें।

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इस महत्वपूर्ण समय में इन बातों का पालन करने से लोग अपने आत्मविश्वास को बढ़ा सकते हैं और इस अवसर को ध्यान में रखकर अपने धार्मिक अनुष्ठानों को पूरा कर सकते हैं।

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